शिकायतों की बहती गंगा में विपक्ष भी कहाँ शांत रहने वाली है ,बहती गंगा में हाथ धोने नगर पालिका परिषद दीपका के नेता प्रतिपक्ष अनूप यादव ने भी मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी छत्तीसगढ़ शासन से एसडीएम कटघोरा ऋचा सिंह एवं उनके रीडर मनोज गोभिल को तत्काल हटाने की मांग की है। पत्र क्रमांक 213 दिनांक 13 -10 -2023 को की गई शिकायत पत्र में उल्लेख किया गया है कि दोनों अधिकारी कर्मचारी एसईसीएल दीपका क्षेत्र के प्रभावित ग्राम मलगांव के पीड़ितों को पुरषोत्तम कंवर के राजनैतिक षड्यंत्र के दबाव में आकर मकान भूमि का मुआवजा औने पौने दर से भुगतान कराकर मकान तोड़ने भय दिखाने में लगे हैं।कम पढ़े लिखे होने की वजह से ग्रामीण जनता का शोषण किया जा रहा है । वर्षों से एसडीएम कटघोरा के यहां पदस्थ रीडर बाबू मनोज गोभिल का अनुभाग के बहुत बड़े भूमि स्मगलर के रूप में नाम आता है। उन्होंने प्रकरण में तत्काल कार्रवाई करते हुए एसडीएम ,रीडर को अन्यत्र स्थानान्तरित करने की मांग की है। बहरहाल अब यह देखना होगा कि उपरोक्त शिकायतों को आयोग कितनी गंभीरता से लेती है और सबंधितों पर कब कार्रवाई की गाज गिरती है।
सीएम की खास,अगले मुखिया सरगुजा से
समाज सेवी मनीराम एम .एल.एस. बी.एस .भारती का शिकायत पत्र राजनीतिक पारा गर्म करने वाला है। पत्र में उल्लेख है कि एसडीएम द्वारा बोला जाता है कि वो आने वाले मुख्यमंत्री की खास हैं,अगला मुखिया सरगुजा संभाग से बनने वाले हैं ऐसी धमकी चमकी एसडीएम देती हैं।उन्होंने शिकायत पत्र में उल्लेख किया है कि एसडीएम कटघोरा के मुख्यालय में न रहकर हरदीबाजार में किसी विशेष पार्टी के संभावित प्रत्याशी के घर में रोज 4 से 4 घण्टे बिता रही हैं। मलगांव में नापी सर्वे के उपरांत 43 व्यक्तियों के मकान का मुआवजा काट दिया गया है। विशेष पार्टी को चुनावी फंडिंग करने के लिए जबरदस्ती सीजीएम को दबाब बनाकर गांव के मकानों को तोड़वाया जा रहा है। जिस पर तत्काल रोक लगाए जाने की दरकार है।
चर्चित रहा मलगांव का मुआवजा प्रकरण ,वितरण ,तत्काल रोक लगा जांच की दरकार
एसईसीएल दीपका क्षेत्र के अधिग्रहित ग्राम मलगांव में मुआवजा का मामला बेहद विवादों में सुर्खियों में रहा है।औने पौने दामों में मुआवजा तैयार करने ,अपात्रों का फर्जी मुआवजा पत्रक तैयार करने से लेकर मुआवजा वितरण तक में गड़बड़ी की शिकायतें विश्वस्त सूत्रों से मिलती रही हैं। नेता प्रतिपक्ष के लिखित शिकायत ने इसे और बल दे दिया है। ऐसे में प्रशासन को तत्काल मामले में उचित कार्रवाई कर मुआवजा वितरण पर रोक लगा प्रकरण की जांच सुनिश्चित करनी चाहिए। ताकि भू अर्जन अधिकारी व रीडर की कार्यशैली पर उठ रहे सवालों का सही जवाब मिल सके।
वर्जन
जो शिकायत किए हैं वही बेहतर बता सकते हैं
राजनीतिक दलों से संरक्षण, का आरोप बेबुनियाद है इस मामले में शिकायतकर्ता ही बेहतर बता सकते हैं। मुआवजा मामले का शिकायत निराधार है।
ऋचा सिंह,एसडीएम कटघोरा
वर्जन
मुझे नहीं मालूम क्या शिकायतें हुई
इस तरह की शिकायत के संदर्भ में मैं अनजान हूँ,शिकायत पत्र देखकर ही कुछ कह सकूंगा। मेरे द्वारा सौंपे गए कार्यदायित्वों का पूरी लगन निष्ठा के साथ निर्वहन किया जा रहा