नई दिल्ली। कोविड-19 का नया वेरिएंट जेएन.1 तेजी से अपना पैर पसार रहा है। भारतीय एसएआरएस- सीओवी-2 जीनोमिक्स कंसोर्टियम (आईएनएसएसीओजी) के अनुसार देश में जेएन.1 के 1,226 मामले सामने आए हैं। कर्नाटक और आंध्र प्रदेश में सबसे ज्यादा मामला दर्ज किया गया है।आईएनएसएसीओजी की डेटा के अनुसार, 17 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में इस वेरिएंट की उपस्थिति का पता लगाया गया है। कर्नाटक में जेएन.1 सब वेरिएंट के 234 मामले, आंध्र प्रदेश में 189, महाराष्ट्र में 170, केरल में 156 और पश्चिम बंगाल में 96, गोवा में 90, तमिलनाडु में 88 और गुजरात में 76 मामले हैं। राजस्थान में जेएन.1 के 37 मामले हैं। वहीं तेलंगाना में 32, छत्तीसगढ़ में 25, दिल्ली में 16, उत्तर प्रदेश में सात, हरियाणा में पांच, ओडिशा में तीन और उत्तराखंड और नगालैंड में एक-एक मामला दर्ज किया गया है। देश में कोविड मामलों की संख्या में बढ़ोतरी और जेएन.1 सब वेरिएंट का पता लगने के बाद केंद्र सरकार ने राज्य और केंद्र शासित प्रदेशों को लगातार निगरानी बनाए रखने को कहा है। बता दें कि विश्व स्वास्थ्य संगठन ने जेएन.1 वेरिएंट को पहले वीओआई के रूप में वर्गीकृत किया गया था।
Friday, January 19, 2024
देश में तेजी से फैल रहा जेएन.1 का संक्रमण
नई दिल्ली। कोविड-19 का नया वेरिएंट जेएन.1 तेजी से अपना पैर पसार रहा है। भारतीय एसएआरएस- सीओवी-2 जीनोमिक्स कंसोर्टियम (आईएनएसएसीओजी) के अनुसार देश में जेएन.1 के 1,226 मामले सामने आए हैं। कर्नाटक और आंध्र प्रदेश में सबसे ज्यादा मामला दर्ज किया गया है।आईएनएसएसीओजी की डेटा के अनुसार, 17 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में इस वेरिएंट की उपस्थिति का पता लगाया गया है। कर्नाटक में जेएन.1 सब वेरिएंट के 234 मामले, आंध्र प्रदेश में 189, महाराष्ट्र में 170, केरल में 156 और पश्चिम बंगाल में 96, गोवा में 90, तमिलनाडु में 88 और गुजरात में 76 मामले हैं। राजस्थान में जेएन.1 के 37 मामले हैं। वहीं तेलंगाना में 32, छत्तीसगढ़ में 25, दिल्ली में 16, उत्तर प्रदेश में सात, हरियाणा में पांच, ओडिशा में तीन और उत्तराखंड और नगालैंड में एक-एक मामला दर्ज किया गया है। देश में कोविड मामलों की संख्या में बढ़ोतरी और जेएन.1 सब वेरिएंट का पता लगने के बाद केंद्र सरकार ने राज्य और केंद्र शासित प्रदेशों को लगातार निगरानी बनाए रखने को कहा है। बता दें कि विश्व स्वास्थ्य संगठन ने जेएन.1 वेरिएंट को पहले वीओआई के रूप में वर्गीकृत किया गया था।